वाराणसी में CBI ने मचाया हड़कंप: रेलवे अधिकारियों के घर-दफ्तर पर छापा, 5 रिश्वतखोर अफसर कर्मचारी पकड़े
रेलवे विभाग में भ्रष्टाचार पर लगाम कसते हुए सीबीआई ने मंगलवार को उत्तर और पूर्वोत्तर रेलवे के कई कार्यालयों पर बड़ी कार्रवाई की। CBI की टीम ने वाराणसी, लखनऊ और गाजियाबाद में एक साथ छापेमारी कर 5 आरोपियों को गिरफ्तार किया है, जिनमें रेलवे के 2 वरिष्ठ अधिकारी और एक निजी कंपनी के कर्मचारी शामिल हैं। कार्रवाई के दौरान लाखों की नकदी और फर्जी बिलिंग से जुड़े अहम दस्तावेज बरामद किए गए हैं।
गति शक्ति परियोजना के तहत भ्रष्टाचार का मामला
CBI को शिकायत मिली थी कि उत्तर रेलवे की 'गति शक्ति' परियोजना के अंतर्गत भदोही में काम कर रही एक निजी कंपनी को अनुचित लाभ पहुंचाने के लिए रेलवे अफसरों ने फर्जी बिल पास किए और इसके एवज में भारी रिश्वत ली गई। जांच में स्पष्ट हुआ कि बिल पास कराने के लिए अधिकारियों ने सीधे-सीधे नकद राशि ली थी।
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CBI के अनुसार, लखनऊ में तैनात उप मुख्य अभियंता विवेक कुशवाहा ने एक निजी व्यक्ति से ₹7 लाख की रिश्वत ली थी। इसी तरह वाराणसी में तैनात वरिष्ठ DEN राकेश रंजन, OS मनीष कुमार, SSE अभिषेक गुप्ता, लेखा अनुभाग अधिकारी योगेश गुप्ता और वरिष्ठ लिपिक सुशील कुमार राय ने भी ठेकेदारों से रिश्वत लेकर फर्जी बिल पास कराए थे।
तीन शहरों में छापेमारी, 5 लाख नकद बरामद
CBI की 7 अलग-अलग टीमों ने 14 जुलाई को लखनऊ के 4, वाराणसी के 6 और गाजियाबाद के 1 ठिकाने पर एक साथ छापेमारी की। तलाशी के दौरान करीब ₹5 लाख नकद, कई आपत्तिजनक दस्तावेज और डिजिटल सबूत बरामद किए गए।
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इन सबूतों के आधार पर अधिकारियों की भूमिका की पुष्टि हुई और गिरफ्तारियां की गईं।
CBI ने इन लोगों को किया गिरफ्तार:
विवेक कुशवाहा – उप महाप्रबंधक (समन्वय), उत्तर रेलवे
राकेश कुमार – वरिष्ठ उप महाप्रबंधक (समन्वय), उत्तर रेलवे
मनीष कुमार – वरिष्ठ उप महाप्रबंधक, डीआरएम कार्यालय, पूर्वोत्तर रेलवे, वाराणसी
अभिनंदन गुप्ता – वरिष्ठ उप महाप्रबंधक (समन्वय), पूर्वोत्तर रेलवे, वाराणसी
योगेश गुप्ता – लेखा अनुभाग अधिकारी, पूर्वोत्तर रेलवे, वाराणसी
सुशील कुमार राय – वरिष्ठ लिपिक, सहायक अभियंता कार्यालय, पूर्वोत्तर रेलवे
प्रवीण कुमार सिंह – निदेशक, टैंगेंट प्राइवेट लिमिटेड, नई दिल्ली
जिमी सिंह – टैंगेंट प्राइवेट लिमिटेड के कर्मचारी
टैंगेंट इंफ्राटेक प्राइवेट लिमिटेड – निजी कंपनी
अन्य अज्ञात आरोपी – जांच जारी
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CBI ने बताया कि एक सहायक अभियंता, जिसने 2.75 लाख की रिश्वत ली थी, फिलहाल फरार है और उसकी तलाश जारी है।